साजिशों के गिरफ्त में युवा पीढ़ी

अजीब विडम्बना है हमारे आज के युवा पीढ़ी की, इतने पढ़े लिखे और समझदार होने के बावजूद भी अपने विचारों और भावनाओं को सूली पर चढ़ा वाह्य शक्तियों और परिवारवादी राजनैतिक दलों के चक्रव्यूह में फंस कर अपने ही देश में अपने ही देश से आजादी और टुकड़े करने का नारा लगाने लगते हैं और उनके साथ खड़े हो जाते है।
--ये जानते हुए कि वो बलात्कारियों को दस हजार रुपये और सिलाई मशीन बांट रहा है।
--ये जानते हुए कि वो अपने और अपने परिवार को सत्ता में स्थापित करने के लिए तमाम राजनैतिक प्रपंच रच रहे हैं।
--ये जानते हुए कि वो नक्सली विचारधारा प्रेरित हो पुरे देश में लाल झंडा फहराना चाहते हैं।
फिर भी हम उनके झंडे थाम लेते हैं। आखिर क्यों??
यह एक सवाल है जिसे हमें समझना होगा।

कुछ वर्षों पहले हमारे बिहार के नेताजी ने कहा था कि, 'हमरे जीते जी कोई माई का लाल आरक्षण खत्म नहीं कर सकता' और ये वही नेताजी हैं, जिन्होंने वर्षों पहले (वर्ष याद नहीं है लेकिन बिहार विभाजन से पहले की बात है) हमारे गृह जिला दरभंगा एक रैली को संबोधित करने पँहुचे थे, उस रैली में हमरे नेताजी ने कहा था कि, "बिहार का बँटवारा हमरी लाश पर से गुजर कर होगा" और ये वाक्या अभी हाल तक दरभंगा  महाराज के किले की चाहरदिवारीयों पर लिखा हुआ मिलता था।

 कॅालेज के दिनों में अक्सर उस रोड से गुजरते हुए उस दिवार पर मोटे-मोटे अक्षरों में लिखा वह लाईन बरबस मुझे अपनी ओर आकर्षित करता।
आखिर बिहार बंट भी गया और वही नेताजी लगभग 15 वर्षों तक सत्ता सुख भी भोगे।
कुछ दिन पहले उसी नेताजी ने फिर से उसी अंदाज में आरक्षण को मुद्दा बनाकर अपना राजनीतिक जाल बिछाने के लिए कहा कि "कोई भी माई का लाल हमरे जीते जी आरक्षण खत्म नहीं कर सकता"। खैर, होगा या नहीं ये तो वक्त ही बताएगा।

आज फिर से हमारे देश के बहुत ही गरिमामयी पद से सेवानिवृत्त हुए एक नेताजी ने सियासी दांव खेलते हुए एक टीवी चैनल के साक्षात्कार में ये कह डाला कि "देश में मुस्लिम समुदाय खुद को डरे, सहमे और असुरक्षित महसूस कर रहे हैं"।

इस देश में कौन कितना सुरक्षित और असुरक्षित है यह जगजाहिर है।
कल तक मैं भी आपकी ही तरह इसे राजनैतिक हवाबाजी से ज्यादा कुछ नहीं मानता था, लेकिन ये कोई राजनैतिक हवाबाजी नहीं है, दरअसल यह एक बहुत ही गहरी और सोची-समझी साजिश रची जा रही है, देश को एक बार फिर से बांटने की।
कहीं अलग काश्मीर के नाम पर, कहीं अलग गोरखालैंड के नाम पर तो कहीं अलग पंजाब प्रांत के नाम पर।
जरा सोचिए जिस देश ने धार्मिक आधार पर बंटने के बाद भी मुस्लिमों को समानता का अधिकार, निजता का अधिकार, अभिव्यक्ति की स्वतंत्रता का अधिकार, जैसी अनेकों अधिकार दे रखी हो,अल्पसंख्यक के नाम पर तमाम मूलभूत सुविधाएं मिल रही हो, उस देश में सुरक्षित महसूस नहीं करना,
गहरी साजिशों की तरफ इंगित करता प्रतीत होता है, जिसे हमें समझना होगा।

यहां हमें ये भी समझना होगा कि आखिर ये राजनेता आज के हम युवा वर्गों और हमारी आनेवाली पीढ़ियों के लिए कैसा माहौल तैयार कर रहे हैं। वास्तविकता तो यह है की एक तरफ ये राजनेता अपनी राजनैतिक महत्वाकांक्षा की पूर्ति के लिये रोज नए_नए हथकंडे अपनाते नजर आ रहे है। कभी मुस्लिम समुदाय, कभी गरीब मजबूर किसान, कभी गौहत्या, कभी गौरक्षक, तो कभी धारा 370, तो कभी काश्मीर को राजनैतिक
हथियार की तरह इस्तेमाल कर रही है।

दोस्तों, ये देश अब हमारे और आपके कंधे पर टिका है। अगर हम इन राजनीतिक दलों के कथनी और करनी के फर्क को नहीं समझेंगे तो ऐसे ही कभी आरक्षण के नाम पर तो कभी समुदाय के नाम पर बँट कर अपने सुखद भविष्य का तो गला घोटेंगें ही,
साथ ही इस देश पर गिद्ध जैसे नजर टिकाए वाह्य शक्तियों के अधीन हो जाएंगे।
इसीलिए हम युवा पीढ़ी को अपने विचारों और भावनाओं का गला न घोंट कर समाज को एक विचारधारा से जुड़ने के लिए प्रेरित करना चाहिए, ताकि एक समृद्ध युवा राष्ट्र का निर्माण हो सके।
जय हिंद। जय भारत।।

किसी भी लेख में भूलचूक होना स्वाभाविक है - कृपया लेख को पढ़कर अपने सुझाव और परामर्श अवश्य देवे - यदि कोई त्रुटि रह गयी हो तो क्षमा करे

Comments

  1. Very nice blog Hritesh brother
    The youth today needs to know and understand the Political games being played,
    Very nice blog , waiting for more 👍

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    1. Yeah...sis...I'll.. &..thnx for ur feedback...🙏🙏🙏

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    2. Yeah...sis...I'll.. &..thnx for ur feedback...🙏🙏🙏

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  2. बहुत ही बढ़िया लिखा है 👍 और अत्यंत महत्वपूर्ण मुद्दा। हम युवाओं को मिलकर ही इसे रोकने की जिम्मेदारी लेनी चाहिए।

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    1. जी बिल्कुल भाई धन्यवाद 🙏🙏

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    2. जी बिल्कुल भाई धन्यवाद 🙏🙏

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  3. कमाल का लिखते हो आप रितेश भाई जितने बार पढ़ता हूं कुछ ना कुछ नया और अनूठा सा अनुभव रोम रोम को रोमांचित कर देता है ।
    देश के युवाओं को दिखता तो सब है बस जरुरत है एक सफल नेतृत्व की जो उसे एक सही दिशा में ले जा सकें ।

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